देहरादून, 29 जून — उत्तराखंड में लगातार हो रही बारिश अब विकराल रूप लेती जा रही है। पर्वतीय क्षेत्रों में स्थिति भयावह होती जा रही है। देर रात उत्तरकाशी जिले के यमुनोत्री हाईवे पर पालीगाड़ और ओजरी डाबरकोट के बीच सिलाई बैंड के पास बादल फटने की घटना सामने आई है, जिससे क्षेत्र में भारी तबाही मच गई।
घटना में एक होटल निर्माण स्थल पूरी तरह से तबाह हो गया, जहां काम कर रहे कई मजदूर लापता हो गए हैं। राहत एवं बचाव कार्य के लिए प्रशासन और एसडीआरएफ की टीम मौके पर पहुंच चुकी है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने घटना की जानकारी अधिकारियों से ली और तत्काल राहत कार्यों को तेज करने के निर्देश दिए।
जानकारी के अनुसार यह हादसा रात करीब 12 बजे हुआ। बड़कोट थानाध्यक्ष दीपक कठेत ने बताया कि यमुनोत्री हाईवे पर बादल फटने की सूचना मिलने के बाद टीम ने मौके पर पहुंचकर देखा कि सड़क निर्माण और अन्य कार्यों में लगे मजदूर टेंट में रह रहे थे। अचानक आई तेज सैलाब की चपेट में आकर वे बह गए। अब तक 8 से 9 मजदूरों के लापता होने की खबर है, जो सभी नेपाली मूल के बताए जा रहे हैं।
उत्तरकाशी जिलाधिकारी प्रशांत आर्य ने बताया कि लापता लोगों की तलाश के लिए खोज अभियान शुरू कर दिया गया है। वहीं 10 अन्य श्रमिकों को रेस्क्यू कर सुरक्षित पालीगाड़ लाया गया है।
गौरतलब है कि पिछले कुछ दिनों से उत्तराखंड में मानसून पूरी तरह से सक्रिय है। मौसम विभाग ने आज से आगामी तीन दिनों तक प्रदेश के सात जिलों—देहरादून, टिहरी, पौड़ी, चम्पावत, हरिद्वार, नैनीताल और ऊधमसिंह नगर—में भारी से भारी बारिश के लिए रेड अलर्ट जारी किया है। इसके अलावा रुद्रप्रयाग, चमोली, उत्तरकाशी, पिथौरागढ़ और बागेश्वर के कुछ हिस्सों में भी भारी बारिश की चेतावनी दी गई है।
मौसम विभाग ने लोगों को सतर्क करते हुए कहा है कि इस दौरान जलभराव, भूस्खलन और नदियों-नालों के जलस्तर में तेज़ वृद्धि की आशंका है। जनता से अपील की गई है कि खराब मौसम के दौरान सावधानी बरतें और अनावश्यक यात्रा से बचें।