देहरादून। उत्तराखंड की रजत जयंती के अवसर पर, माननीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के एफआरआई परिसर में आयोजित मुख्य कार्यक्रम के दौरान, देहरादून जिला प्रशासन की दूरदर्शिता ने शहर को भीषण जाम से मुक्त रखा। जिलाधिकारी (DM) के विशेष आदेश पर, 9 नवंबर को लच्छीवाला टोल प्लाजा और आशा रोड़ी बैरियर को सुबह 5 बजे से शाम 6 बजे तक यानी पूरे 13 घंटों के लिए टोल-मुक्त (Toll-Free) रखा गया।
🚫 टोल-मुक्त रहा आवागमन, शहर में बनी रही शांति व्यवस्था
प्रधानमंत्री के कार्यक्रम में सीमावर्ती और पर्वतीय जिलों से बड़ी संख्या में बसों और निजी वाहनों के आने की संभावना थी, जिससे टोल प्लाजा पर भीषण जाम लग सकता था और शहर की यातायात व्यवस्था ध्वस्त हो सकती थी। इस स्थिति को टालने के लिए, जिलाधिकारी ने भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता की शक्तियों का प्रयोग करते हुए यह ऐतिहासिक निर्णय लिया।
- निर्णय: लच्छीवाला टोल प्लाजा व एक्सप्रेसवे को 9 नवंबर को प्रातः 5:00 बजे से सांय 6:00 बजे तक टोल-मुक्त रखा गया।
- असर: इस अवधि में किसी भी निजी, कमर्शियल या अन्य वाहन का टोल टैक्स नहीं काटा गया, जिससे निशुल्क और सुगम आवागमन सुनिश्चित हुआ।
- फास्टैग (FASTag) से भी वसूली नहीं: इस दौरान फास्टैग से भी किसी प्रकार का टोल नहीं वसूला गया।
🚦 DM का आदेश हुआ कारगर साबित
जिला प्रशासन का यह कदम अत्यंत कारगर साबित हुआ। भारी यातायात के बावजूद, वाहनों का प्रवाह सुचारू बना रहा और देहरादून शहर दिनभर जाम से मुक्त रहा। इस व्यवस्था ने न केवल प्रधानमंत्री के कार्यक्रम में शामिल होने वाले लोगों को सुविधा दी, बल्कि शहर में कानून और शांति व्यवस्था बनाए रखने में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
शाम 6 बजे के बाद, टोल प्लाजा पर सामान्य रूप से टोल वसूली दोबारा शुरू कर दी गई। जिला प्रशासन की इस प्रभावी और समय पर की गई कार्रवाई की स्थानीय नागरिकों और यात्रियों ने सराहना की है।